आयुष्मान भारत योजना में एक नया अध्याय जुड़ने जा रहा है। सरकार ने इस योजना के लाभार्थियों के लिए डिजिटल वॉलेट की सुविधा शुरू करने का निर्णय लिया है। यह नई पहल न केवल लाभार्थियों को उनकी पात्रता और बचे हुए इलाज खर्च की जानकारी सीधे मोबाइल पर उपलब्ध कराएगी, बल्कि योजना में पारदर्शिता भी बढ़ाएगी।
आयुष्मान भारत योजना के तहत प्रत्येक लाभार्थी को 5 लाख रुपए तक की चिकित्सा सहायता प्रदान की जाती है। नए डिजिटल वॉलेट के माध्यम से लाभार्थी आसानी से यह जान सकेंगे कि उनकी इस सीमा में से कितनी राशि खर्च हो चुकी है और कितनी शेष है। मध्य प्रदेश के आयुष्मान योजना के सीईओ डॉ. योगेश भरसट के अनुसार, यह सुविधा योजना में होने वाली अनियमितताओं को रोकने में भी मदद करेगी।
आयुष्मान भारत योजना में डिजिटल क्रांति
आयुष्मान भारत योजना का लाभ समाज के कमजोर वर्गों को मिलता है। इसमें कच्चे मकान में रहने वाले, भूमिहीन व्यक्ति, अनुसूचित जाति या जनजाति के लोग, ग्रामीण क्षेत्र के निवासी, ट्रांसजेंडर और गरीबी रेखा से नीचे जीवन यापन करने वाले लोग शामिल हैं। इस योजना के तहत लाभार्थियों को भर्ती से पहले की जांचें, उपचार के दौरान भोजन और डिस्चार्ज के बाद 10 दिन तक की दवाएं नि:शुल्क प्रदान की जाती हैं।
योजना का लाभ लेने के लिए पात्र व्यक्ति अपने नजदीकी जन सेवा केंद्र में जाकर या ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। ऑनलाइन आवेदन के लिए आधिकारिक वेबसाइट mera.pmjay.gov.in पर जाकर अपना मोबाइल नंबर, राज्य, नाम और अन्य आवश्यक जानकारी भरनी होगी। सरकार जरूरी जांच के बाद पात्र व्यक्तियों को आयुष्मान कार्ड जारी कर देती है।
डिजिटल वॉलेट की शुरुआत से न केवल लाभार्थियों को सुविधा मिलेगी, बल्कि सरकार को भी योजना के खर्च पर बेहतर निगरानी रखने में मदद मिलेगी। यह कदम भारत के स्वास्थ्य क्षेत्र में डिजिटल क्रांति का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। इससे योजना का क्रियान्वयन और भी प्रभावी होगा और लाभार्थियों को बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं सुनिश्चित होंगी। यह पहल दर्शाती है कि सरकार स्वास्थ्य सेवाओं को और अधिक पारदर्शी और सुलभ बनाने के लिए प्रतिबद्ध है।